अल्मोड़ा स्टेडियम में आयोजित विभागीय क्रिकेट टूर्नामेंट का फाइनल मैच पुलिस विभाग और शिक्षा विभाग के बीच खेला गया। इस रोमांचक मैच के दौरान, पूर्व राज्य मंत्री गोपाल सिंह जीना ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की और ट्रास उछालकर मैच की शुरुआत की। ट्रास पुलिस विभाग के पक्ष में आया, और इसके बाद पुलिस विभाग की टीम ने पहले बैटिंग करते हुए 20 ओवर में 178 रन बनाए। जवाब में शिक्षा विभाग की टीम ने केवल 17 ओवर में दो विकेट खोकर लक्ष्य हासिल किया और मैच को अपने नाम किया।
मैच के बाद, मुख्य अतिथि गोपाल सिंह जीना ने खिलाड़ियों और उपस्थित जनसमूह को संबोधित करते हुए खेल के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि खेल केवल मनोरंजन का साधन नहीं हैं, बल्कि यह हमारे जीवन का अहम हिस्सा हैं। खेलों से न केवल शारीरिक विकास होता है, बल्कि मानसिक और सामाजिक विकास भी होता है। गोपाल सिंह जीना ने यह भी कहा कि अल्मोड़ा से क्रिकेट, बैडमिंटन और अन्य खेलों में राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई खिलाड़ी उभरे हैं, जिन्होंने अल्मोड़ा का नाम गर्व से रोशन किया है और अभी भी कर रहे हैं। यह अल्मोड़ा के लिए गर्व की बात है कि यहां के खिलाड़ी अपनी मेहनत और समर्पण से उच्चतम मानकों तक पहुंचे हैं।
फाइनल मैच के विजेता टीम को मुख्य अतिथि द्वारा ₹2100 की राशि और उपविजेता टीम को ₹1500 का पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया। यह पुरस्कार खिलाड़ियों की मेहनत और संघर्ष को मान्यता देने के लिए था, जिन्होंने इस टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन किया। इस पुरस्कार वितरण समारोह में कई विशिष्ट अतिथियों ने भाग लिया, जिनमें विनय किरौला, सलमान अंसारी, मुकुल कुमार (नगर अध्यक्ष अनुसूचित मोर्चा भाजपा), पंकज कनवाल (छात्र नेता), शंकर लाल (एडवोकेट), दिनेश पांडे, संगम पांडे, आबिद अली, अजय लाल शाह, पुलिस उपाधीक्षक सदर, पुष्कर सिंह भैंसोड़ा (मंडली अध्यक्ष शिक्षा विभाग), राजेंद्र सिंह बोरा (पूर्व प्रधान), राजू लटवाल, गिरीश नाथ गोस्वामी (पूर्व सभासद), हरीश गोस्वामी, राजेंद्र बिष्ट, सुनील टम्टा, जगदीश राम और पंकज जोशी जैसे कई गणमान्य लोग मौजूद थे।
इस आयोजन ने न केवल अल्मोड़ा के खेल प्रेमियों के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदान किया, बल्कि यह यह भी दर्शाया कि खेलों के माध्यम से समाज की एकता और विकास को बढ़ावा दिया जा सकता है। इस तरह के आयोजनों से खिलाड़ियों को अपनी क्षमताओं को दिखाने का मौका मिलता है, साथ ही यह स्थानीय समुदाय को भी एकजुट करता है।
इस कार्यक्रम का एक अन्य महत्वपूर्ण पहलू यह था कि कैलाश मेहरा कोच क्रिकेट द्वारा इस अवसर पर मुख्य अतिथि और अन्य सभी उपस्थित लोगों का आभार व्यक्त किया और भविष्य में इसी प्रकार के आयोजनों में सहयोग देने की उम्मीद जताई। कैलाश मेहरा कोच क्रिकेट ने कहा कि इस तरह के कार्यक्रम न केवल युवाओं को खेलों के प्रति आकर्षित करते हैं, बल्कि यह उन्हें जीवन के महत्वपूर्ण पाठ भी सिखाते हैं। उन्होंने सभी को खेलों में भाग लेने और अपने शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए प्रेरित किया।
कैलाश मेहरा कोच क्रिकेट द्वारा इस आयोजन की सफलता के लिए सभी का धन्यवाद करते हुए यह कहा कि अल्मोड़ा के खिलाड़ियों में अपार प्रतिभा है, और अगर उन्हें सही अवसर मिलें, तो वे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सफलता प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने उम्मीद जताई कि भविष्य में अल्मोड़ा में और भी खेल गतिविधियाँ होंगी, जिससे यहां के खिलाड़ी अपनी प्रतिभा को और बेहतर तरीके से प्रदर्शित कर सकेंगे।
इस आयोजन ने यह स्पष्ट कर दिया कि खेल केवल शारीरिक प्रतिस्पर्धा नहीं है, बल्कि यह हमें जीवन के महत्वपूर्ण सिद्धांतों जैसे अनुशासन, समर्पण, टीमवर्क और संघर्ष के बारे में भी सिखाता है। इन गुणों को खेलों के माध्यम से बेहतर ढंग से समझा जा सकता है, और यही कारण है कि खेलों का हमारे जीवन में अहम स्थान है।
इस प्रकार, अल्मोड़ा में आयोजित यह विभागीय क्रिकेट टूर्नामेंट न केवल एक खेल आयोजन था, बल्कि यह एक महत्वपूर्ण सामाजिक घटना भी थी। इसने दर्शाया कि खेलों के माध्यम से समाज की एकता, शारीरिक और मानसिक विकास, और युवा पीढ़ी में सकारात्मकता का संचार किया जा सकता है। भविष्य में इस तरह के आयोजनों की और आवश्यकता है, जो न केवल खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करें, बल्कि पूरे समाज को खेलों के महत्व का एहसास भी दिलाएं।
अल्मोड़ा के इस खेल आयोजन ने यह सिद्ध कर दिया कि यहां के युवा क्रिकेट और अन्य खेलों में अपार संभावनाओं से भरे हुए हैं। यदि उन्हें सही दिशा, मार्गदर्शन और अवसर मिले, तो वे देश और विदेश में अपनी पहचान बना सकते हैं। इस आयोजन से यह संदेश भी गया कि हम सभी को खेलों के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभानी चाहिए और उन्हें अपने जीवन का अहम हिस्सा बनाना चाहिए।