अल्मोड़ा। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (अभाविप) के कार्यकर्ताओं द्वारा सोमवार को पूर्व दर्जा मंत्री एवं भाजपा नेता बिट्टू कर्नाटक को अभाविप के इतिहास पर आधारित एक पुस्तक भेंट की गई। इस अवसर पर कर्नाटक ने सभी अभाविप पदाधिकारियों को शाल ओढ़ाकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में छात्र संगठन के कार्यकर्ताओं की गरिमामयी उपस्थिति रही।
पूर्व दर्जा मंत्री बिट्टू कर्नाटक ने अभाविप के कार्यों की सराहना करते हुए कहा कि यह संगठन देशहित एवं समाजहित के लिए निरंतर सक्रिय है। उन्होंने कहा कि अभाविप न केवल छात्रों के सर्वांगीण विकास में सहयोगी है, बल्कि यह संगठन हमारी प्राचीन संस्कृति और सभ्यता को भावी पीढ़ियों तक पहुंचाने का कार्य भी सकारात्मक रूप से कर रहा है। उन्होंने कहा कि अभाविप के कार्यकर्ता हिंदुत्व की सेवा के लिए सदैव तत्पर रहते हैं और संगठन की यह विशेषता इसे अन्य संगठनों से अलग बनाती है।
कर्नाटक ने आगे कहा कि भारत की संस्कृति विश्व की सबसे प्राचीन संस्कृतियों में से एक है। इसे सहेजकर अगली पीढ़ियों को सौंपना हम सभी का नैतिक दायित्व है। अभाविप इस उत्तरदायित्व का निर्वहन पूरी निष्ठा और दक्षता से कर रही है। उन्होंने कहा कि अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद आज देश का सबसे बड़ा छात्र संगठन है, जिसकी नीतियों एवं सिद्धांतों से प्रभावित होकर देशभर के युवा बड़ी संख्या में इससे जुड़ रहे हैं।
अपने उद्बोधन में कर्नाटक ने युवाओं से राष्ट्र सेवा एवं हिंदुत्व के संरक्षण के लिए आगे आने का आह्वान किया। उन्होंने कहा कि भारत को हम सभी अपनी माता मानते हैं और इसकी संस्कृति, सनातन धर्म एवं इतिहास को सुरक्षित रखना हम सभी की जिम्मेदारी है। जिस प्रकार हमारे पूर्वजों ने अपने बलिदान से इस संस्कृति की रक्षा की, उसी प्रकार हमें भी देश की अखंडता, संस्कृति और सनातन परंपरा को संजोकर भावी पीढ़ी को सौंपना चाहिए।
इस अवसर पर अभाविप के विभाग संगठन मंत्री पंकज धामी, जिलाध्यक्ष बंटी कुमार, नगर मंत्री रोहित कुमल्टा, परिसर अध्यक्ष राहुल कनवाल, निखिल बिष्ट सहित देवेंद्र कर्नाटक, अशोक सिंह, कमलेश कर्नाटक, भूपेंद्र भोज, सुधीर कुमार, हिमांशु कनवाल, हेम जोशी, प्रकाश सिंह मेहता, गौरव कांडपाल, अभिषेक तिवारी, शिवानी बिष्ट आदि मौजूद रहे।