एक ओर जहां देशभर में देश के प्रथम उपराष्ट्रपति व पूर्व राष्ट्रपति सर्वपल्ली राधाकृष्णन की स्मृति में शिक्षक दिवस पर शिक्षकों का सम्मान हुआ वहीं दूसरी ओर पिछले 8 महीने से नियुक्ति की बाट जो रहे प्रदेशभर से 519 डाइट डीएलएड प्रशिक्षितों ने शाम 5:05 पर अपने-अपने घरों से थाली और चम्मच बजाकर सरकार के खिलाफ प्राथमिक शिक्षक के पद पर नियुक्ति प्रदान ना करने का विरोध किया।

डाइट डीएलएड प्रशिक्षित बेरोजगार संगठन के प्रदेश अध्यक्ष पवन मुस्युनी ने बताया कि 2017 में आयोजित डीएलएड प्रवेश परीक्षा में लगभग 70000 परीक्षार्थियों में से 550 का चयन हुआ।

चयनित अभ्यर्थियों ने राज्य के सभी जनपदों के जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान से 2 साल का कड़ा प्रशिक्षण प्राप्त किया ,₹70000 फीस जमा की, टीईटी उत्तीर्ण किया और मार्च 2020 तक शिक्षा निदेशालय में धरना भी दिया, लेकिन प्राथमिक विद्यालयों में 4000 से अधिक पद रिक्त होने के बावजूद शिक्षकों को नियुक्ति नहीं प्रदान की गई।

पलायन रोकने पर विभिन्न योजनाओं की डींगे हांकने वाली सरकार में शिक्षकविहीन विद्यालय भला कैसे पलायन रोकेंगे ? नौनिहाल कैसे शिक्षा पाएंगे ? ये बड़ा प्रश्न है।

संघ ने चेतावनी दी है कि यदि शीघ्र ही प्राथमिक शिक्षक के पद पर नियुक्ति प्रदान नहीं की गई तो प्रशिक्षित सड़कों पर विरोध प्रदर्शन करने को बाध्य होंगे।

इस अवसर पर पवन मुस्युनी, सुधांशु जौहरी, केवल प्रसाद, दिव्या तिवारी, कविता गैङा, मनीषा खनका, कोमल कांडपाल,सौरभ कांडपाल,सुशील कुमार, आदि मौजूद थे।